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प्रदूषण नियंत्रण को लेकर दिल्ली सरकार के नए आदेश में क्या-क्या?
Authored By: Ranjan Gupta
Published On: Wednesday, December 17, 2025
Last Updated On: Wednesday, December 17, 2025
दिल्ली में प्रदूषण की बिगड़ती हालत के बीच सरकार ने बड़े और सख्त फैसले लिए हैं. 18 दिसंबर से BS-6 वाहनों की अनिवार्यता, बिना PUCC फ्यूल बैन और इलेक्ट्रिक बसों का विस्तार. जानिए प्रदूषण पर लगाम लगाने के लिए क्या-क्या बदलेगा.
Authored By: Ranjan Gupta
Last Updated On: Wednesday, December 17, 2025
Pollution Control: दिल्ली एक बार फिर जहरीली हवा की चपेट में है. सर्दियों की शुरुआत के साथ ही स्मॉग और धुंध ने लोगों की सांसें मुश्किल कर दी हैं और AQI लगातार ‘बहुत खराब’ से ‘गंभीर’ श्रेणी में बना हुआ है. इसी बढ़ते खतरे को देखते हुए दिल्ली सरकार ने प्रदूषण नियंत्रण को लेकर कड़े और तात्कालिक कदम उठाए हैं. पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने नए आदेशों की घोषणा करते हुए बताया कि 18 दिसंबर से दिल्ली के बाहर से आने वाले केवल BS-6 ग्रेड के वाहनों को ही प्रवेश मिलेगा, जबकि बिना वैध PUCC वाले वाहनों को फ्यूल नहीं दिया जाएगा. इसके साथ ही इलेक्ट्रिक बसों का विस्तार, प्रदूषण हॉटस्पॉट की पहचान और वैज्ञानिक निगरानी जैसे कदम भी शामिल हैं. ऐसे में सवाल यही है कि सरकार के इन नए आदेशों में आम लोगों के लिए क्या बदलेगा और प्रदूषण से राहत कितनी मिलेगी?
प्रदूषण पर काबू पाने के लिए सरकार के कई कदम
दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए सरकार ने कई अहम कदम उठाए हैं. पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने बताया कि शहर में 62 प्रदूषण हॉटस्पॉट चिन्हित किए गए हैं. इनमें से 13 इलाकों में पिछले साल के मुकाबले प्रदूषण का स्तर कम हुआ है. यह सरकार के प्रयासों का असर माना जा रहा है.
उन्होंने कहा कि वाहनों से निकलने वाले धुएं को कम करने के लिए डीटीसी में 3,427 इलेक्ट्रिक बसें शामिल की गई हैं. इससे ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन में कमी आएगी. इसके साथ ही वैज्ञानिकों की एक विशेष समिति बनाई गई है. यह समिति नियमित बैठक कर रही है. प्रदूषण के बदलते रुझानों पर नजर रखी जा रही है. आगे क्या कदम उठाने हैं, इस पर भी सुझाव दिए जा रहे हैं.
वाहनों से निकलने वाला धुआं प्रदूषण की बड़ी वजह है. इसके अलावा निर्माण कार्यों से उड़ने वाली धूल भी हालात बिगाड़ रही है. सरकार का मानना है कि ट्रैफिक से होने वाला प्रदूषण सबसे बड़ा कारण है. इसी को देखते हुए PUCC जांच को सख्ती से लागू किया जा रहा है. पुराने और ज्यादा प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों पर कार्रवाई की जा रही है.
दिल्ली की जनता से माफी
पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने मंगलवार को दिल्ली की जनता से माफी भी मांगी. उन्होंने कहा कि प्रदूषण के लिए वह लोगों से क्षमा चाहते हैं. साथ ही उन्होंने यह भी साफ किया कि किसी भी सरकार के लिए 9 से 10 महीनों में प्रदूषण पर पूरी तरह काबू पाना आसान नहीं है.
प्रेस कॉन्फ्रेंस में सिरसा ने कहा कि मौजूदा सरकार पहले से बेहतर काम कर रही है. उन्होंने दावा किया कि हर दिन AQI को कम करने की कोशिश हो रही है. उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदूषण की यह समस्या पिछली आम आदमी पार्टी सरकार की देन है. हालांकि अब इसे ठीक करने के लिए लगातार काम किया जा रहा है.
प्रदूषण की चपेट में दिल्ली-NCR
पिछले कई सालों से सर्दियों के मौसम में दिल्ली की हवा बेहद खराब हो जाती है. हर साल ठंड बढ़ते ही पूरे दिल्ली-NCR में धुंध छा जाती है. प्रदूषण के कारण सामान्य जीवन प्रभावित होता है. पिछले तीन दिनों तक दिल्ली में AQI 400 से ऊपर रहा. यह स्थिति ‘गंभीर’ श्रेणी में आती है.
पब्लिक ट्रांसपोर्ट अपनाने की अपील
दिल्ली सरकार ने लोगों से सहयोग की अपील की है. सरकार का कहना है कि नागरिक ज्यादा से ज्यादा सार्वजनिक परिवहन का इस्तेमाल करें. बिना जरूरत निजी वाहनों का उपयोग न करें. इससे प्रदूषण कम करने में मदद मिलेगी.
सरकार ने साफ किया है कि ये कदम भले ही अस्थायी हों, लेकिन लोगों की सेहत के लिए जरूरी हैं. आने वाले दिनों में हालात की समीक्षा की जाएगी. जरूरत पड़ी तो और सख्त फैसले भी लिए जाएंगे. मंत्री सिरसा ने कहा कि ये सभी उपाय दिल्ली को साफ हवा देने की दिशा में अहम हैं. उन्होंने बताया कि ये नियम 18 दिसंबर से लागू होंगे. साथ ही उन्होंने नागरिकों से नियमों का पालन करने की अपील की.
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