महीने भर में फिट हो जाएगी बॉडी, जानें त्रिकोणासन करने का सही तरीका और इसके फायदे

Authored By: Ranjan Gupta

Published On: Saturday, August 2, 2025

Updated On: Saturday, August 2, 2025

Trikonasana Benefits – योग करते व्यक्ति की छवि जो त्रिकोणासन में है.

त्रिकोणासन, जिसे 'ट्राएंगल पोज़' भी कहा जाता है, सिर्फ शरीर को लचीला और संतुलित ही नहीं बनाता बल्कि मानसिक तनाव, खराब पोस्चर और पाचन संबंधी समस्याओं में भी राहत देता है. जानें इसके अभ्यास का सही तरीका और फायदे.



Authored By: Ranjan Gupta

Updated On: Saturday, August 2, 2025

तेजी से बदलती जीवनशैली, लगातार बैठकर काम करने और मानसिक तनाव ने हमारे शरीर और मन को थका दिया है. (Trikonasana Benefits) ऐसे में योग एक शक्तिशाली साधन बनकर उभरा है, जो न केवल शरीर को स्वस्थ बनाता है, बल्कि मानसिक संतुलन भी लौटाता है. इसी कड़ी में ‘त्रिकोणासन’ एक बेहद प्रभावशाली आसन है. यह न सिर्फ रीढ़ और कमर को मजबूत करता है, बल्कि फ्लैट फुट, खराब पोस्चर और तनाव जैसी कई आम समस्याओं का समाधान भी है. 

ट्राएंगल पोज क्यों है फायदेमंद

विशेषज्ञों का कहना है कि अगर बचपन से ही योग की आदत बना ली जाए तो न केवल शरीर फिट रहता है, बल्कि मानसिक रूप से भी व्यक्ति मजबूत होता है. योग के तमाम आसनों में से एक है ‘त्रिकोणासन’, जिसे अंग्रेजी में ‘ट्राएंगल पोज’ कहा जाता है. यह शरीर को संतुलन और लचीला बनाता है. 

आयुष मंत्रालय के मुताबिक, त्रिकोणासन को यह नाम इसलिए दिया गया है क्योंकि इसे करते समय हमारा हाथ, पैर और रीढ़ की हड्डी एक त्रिकोण का आकार बनाते हैं. यह आसन न केवल शरीर को आकार देता है बल्कि मानसिक शांति भी प्रदान करता है.

त्रिकोणासन योग के फायदे

  • त्रिकोणासन कमर और रीढ़ की हड्डी को मजबूत बनाता है. जो लोग घंटों बैठकर काम करते हैं या जिन लोगों को पीठ दर्द की समस्या है, उनके लिए यह आसन काफी फायदेमंद है. इससे रीढ़ की नसों में खिंचाव आता है और लचीलापन बढ़ता है. साथ ही कमर के आसपास जमा फैट भी कम होता है. नियमित अभ्यास से खराब पोस्चर में भी सुधार होता है.
  • फ्लैट फुट की समस्या में त्रिकोणासन राहत देता है. फ्लैट फुट, यानी पैरों की प्राकृतिक आर्क का अभाव, आज एक सामान्य लेकिन नजरअंदाज की जाने वाली समस्या है. त्रिकोणासन के अभ्यास से पैरों में संतुलन आता है और तलवे की मांसपेशियां मजबूत होती हैं. यह पैरों के तलवे, टखने और पिंडली को सक्रिय करता है जिससे फ्लैट फुट की परेशानी से राहत मिलती है. इसके नियमित अभ्यास से व्यक्ति को चलने, दौड़ने और खड़े होने में स्थिरता और आराम मिलता है.
  • त्रिकोणासन तनाव और चिंता में राहत देता है. इस आसन को करते समय जब हम गहरी सांस लेते हैं, तो मानसिक तनाव और चिंता कम होने लगती है. यह आसन मस्तिष्क को शांत करता है, जिससे एकाग्रता बढ़ती है और नींद की गुणवत्ता में भी सुधार होता है.
  • यह आसन पाचन तंत्र को सुधारता है. इस आसन से आंतों और पेट के अंगों पर हल्का दबाव पड़ता है, जिससे पाचन क्रिया सक्रिय होती है और गैस, अपच, कब्ज जैसी समस्याओं से राहत मिलती है. यह आसन मेटाबॉलिज्म को तेज करता है, जिससे भोजन जल्दी और सही तरीके से पचता है.

त्रिकोणासन करने का सही तरीका 

त्रिकोणासन करने के लिए सबसे पहले पैरों को एक-दूसरे से लगभग तीन फीट की दूरी पर फैलाएं. अब अपने दोनों हाथों को कंधों की सीध में रखें और शरीर को संतुलित करें. दाहिने पैर को 90 डिग्री बाहर की ओर घुमाएं और बाएं पैर को थोड़ा अंदर की ओर करें. अब गहरी सांस लें और धीरे-धीरे सांस छोड़ते हुए कमर से दाहिनी ओर झुकें. दाहिने हाथ से दाहिनी एड़ी को छूने की कोशिश करें और बायां हाथ सीधा ऊपर की ओर उठाएं. सिर को घुमाकर ऊपर की ओर देखें और इस स्थिति में सामान्य रूप से सांस लेते हुए कुछ सेकंड तक रहें और फिर सामान्य पॉजिशन में आजाएं.

(आईएएनएस इनपुट के साथ)



About the Author: Ranjan Gupta
रंजन कुमार गुप्ता डिजिटल कंटेंट राइटर हैं, जिन्हें डिजिटल न्यूज चैनल में तीन वर्ष से अधिक का अनुभव प्राप्त है. वे कंटेंट राइटिंग, गहन रिसर्च और SEO ऑप्टिमाइजेशन में माहिर हैं. शब्दों से असर डालना उनकी कला है और कंटेंट को गूगल पर रैंक कराना उनका जुनून! वो न केवल पाठकों के लिए उपयोगी और रोचक लेख तैयार करते हैं, बल्कि गूगल के एल्गोरिदम को भी ध्यान में रखते हुए SEO-बेस्ड कंटेंट तैयार करते हैं. रंजन का मानना है कि "हर जानकारी अगर सही रूप में दी जाए, तो वह लोगों की जिंदगी को प्रभावित कर सकती है." यही सोच उन्हें हर लेख में निखरने का अवसर देती है.
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