साल 2024 के अंतिम दिन दिखी एक अनोखी खगोलीय घटना, ब्लैक मून के हुए दीदार

साल 2024 के अंतिम दिन दिखी एक अनोखी खगोलीय घटना, ब्लैक मून के हुए दीदार

Authored By: अंशु सिंह

Published On: Tuesday, December 31, 2024

2024 ke aakhri din Black Moon ka anokha drishya, rare astronomical event ki tasveer.
2024 ke aakhri din Black Moon ka anokha drishya, rare astronomical event ki tasveer.

गुजरता हुआ यह साल जाते-जाते एक अद्भुत खगोलीय घटना का गवाह बना। जी हां, वर्ष 2024 के आखिरी दिन आकाश में ‘ब्लैक मून’ के दीदार हुए। इसे देखने के लिए हर कोई आतुर रहा।

Authored By: अंशु सिंह

Updated On: Tuesday, December 31, 2024

एस्ट्रोनोमी में वैसे तो ‘ब्लैक मून’ (Black Moon) को आधिकारिक तौर पर कोई मान्यता नहीं मिली है। लेकिन खगोल विज्ञान एवं तारों में रुचि रखने वालों में यह काफी लोकप्रिय है। अब प्रश्न है कि इस दौरान क्या धरती से चांद काले रंग का दिखाई दिया ? उत्तर है नहीं। असल में ‘ब्लैक मून’ को हम इन आंखों से नहीं देख सकते। इससे रात का आकाश और अधिक काला हो जाता है। काली रात में फिर तारों, ग्रहों एवं दूर की आकाशगंगाओं को देखना कहीं आसान होता है। दूरबीन एवं टेलीस्कोप से इन्हें बेहतर तरीके से देखा जा सकता है।

भारत में 31 दिसंबर की सुबह दिखेगा ‘ब्लैक मून’

अमेरिकी नेवल ऑब्जर्वेटरी के अनुसार, यह अद्भुत घटना 30 दिसंबर को शाम 5.27 बजे ET (2227 GMT) पर घटित होगी। यानी अमेरिका में रहने वाले इसे 30 दिसंबर को देख सकेंगे, जबकि यूरोप, अफ्रीका एवं एशिया में यह घटना 31 दिसंबर को दिखाई देगी। भारत में लोग 31 दिसंबर की सुबह 3.57 बजे ब्लैक मून को देख सकेंगे। आकाश में अंधेरा होने से वृहस्पति और शुक्र ग्रहों की दृश्यता बढ़ जाएगी, जो शाम के समय आकाश में दूरबीन या टेलीस्कोप से दिखाई देंगे। उत्तरी गोलार्ध के ओरियन (Orion), वृषभ एवं सिंह तारामंडलों में रहने वाले लोगों को अधिक स्पष्ट दृश्य दिखाई देगा।

एक ही कैलेंडर महीने में दूसरी बार दिखता नया चांद

ब्लैक मून एक दुर्लभ खगोलीय घटना है, जब एक ही कैलेंडर महीने में दूसरी बार नया चांद दिखाई देता है। क्योंकि चंद्र चक्र करीब 29.5 दिनों का होता है, इसलिए कभी-कभी एक महीने में दो अमावस्याएं हो सकती हैं। दो बार अमावस्या आना भी एक दुर्लभ घटना है। इसे ही ‘ब्लैक मून’ कहा जाता है। अमावस्या तब होती है, जब सूर्य और चंद्रमा आकाश में एक सीध में आ जाते हैं। इससे चंद्रमा का प्रकाशित हिस्सा पृथ्वी से दूर हो जाता है। यानी हमारे लिए चांद अदृश्य हो जाता है।

अगला ‘ब्लैक मून’ अगस्त 2025 में देगा दिखाई

बताते हैं कि ब्लैक मून के दौरान खासकर वृहस्पति एवं शुक्र ग्रहों को देखना सहज होता है। इसके अलावा, उत्तरी गोलार्ध में ओरियन, वृषभ एवं सिंह जैसे नक्षत्रों को भी देखना अद्भुत होगा। दक्षिण दिशा में रात के आकाश का सबसे चमकीला तारा सिरियस भी दिखाई देगा। वहीं, दक्षिणी गोलार्ध में दक्षिणी क्रॉस एवं नक्षत्र कैरिनी में कैनोपस भी नजर आएगा। जानकारों के अनुसार, अगला ब्लैक मून 23 अगस्त 2025 को दिखाई देगा और उसके पश्चात् 31 अगस्त 2027 को इसे देखा जा सकेगा।

About the Author: अंशु सिंह
अंशु सिंह पिछले बीस वर्षों से हिंदी पत्रकारिता की दुनिया में सक्रिय रूप से जुड़ी हुई हैं। उनका कार्यकाल देश के प्रमुख समाचार पत्र दैनिक जागरण और अन्य राष्ट्रीय समाचार माध्यमों में प्रेरणादायक लेखन और संपादकीय योगदान के लिए उल्लेखनीय है। उन्होंने शिक्षा एवं करियर, महिला सशक्तिकरण, सामाजिक मुद्दों, संस्कृति, प्रौद्योगिकी, यात्रा एवं पर्यटन, जीवनशैली और मनोरंजन जैसे विषयों पर कई प्रभावशाली लेख लिखे हैं। उनकी लेखनी में गहरी सामाजिक समझ और प्रगतिशील दृष्टिकोण की झलक मिलती है, जो पाठकों को न केवल जानकारी बल्कि प्रेरणा भी प्रदान करती है। उनके द्वारा लिखे गए सैकड़ों आलेख पाठकों के बीच गहरी छाप छोड़ चुके हैं।
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