70 दवाओं के सैंपल फेल, पाकिस्तान में बनी ब्यूटी क्रीम और चीन की लिपस्टिक में मिलावट

70 दवाओं के सैंपल फेल, पाकिस्तान में बनी ब्यूटी क्रीम और चीन की लिपस्टिक में मिलावट

Authored By: स्मिता

Published On: Tuesday, April 22, 2025

Updated On: Tuesday, April 22, 2025

Spurious Drugs in India : 70 दवाओं के सैंपल फेल, पाकिस्तान की ब्यूटी क्रीम और चीन की लिपस्टिक में मिलावट.
Spurious Drugs in India : 70 दवाओं के सैंपल फेल, पाकिस्तान की ब्यूटी क्रीम और चीन की लिपस्टिक में मिलावट.

केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) व स्टेट ड्रग अथारिटी (SDA) ने अलर्ट जारी कर 70 दवाओं के सैंपल फेल बताए. इसमें पाकिस्तान में बनी ब्यूटी क्रीम व चीन में बनी लिपस्टिक का सैंपल भी शामिल है. इमके अलावा. दवाओं की गुणवत्ता सही नहीं पाई गई.

Authored By: स्मिता

Updated On: Tuesday, April 22, 2025

Spurious Drugs in India : बीमारियों से जीवन को बचाने वाली दवाओं पर हम बहुत अधिक विश्वास करते हैं. दवाओं की जांच ने केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन को प्रेरित कर दिया. केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) व स्टेट ड्रग अथारिटी (SDA) ने अलर्ट जारी कर दवाओं की जांच शुरू की. जांच में 70 दवाओं के सैंपल फेल हुए. इसमें 25 दवा हिमाचल की हैं. स्टेट ड्रग अथारिटी ने देशभर की 61 दवाओं की गुणवत्ता सही नहीं पाई. इसमें हिमाचल में बनी सात दवाओं के सैंपल फेल हुए हैं.

ड्रग अलर्ट है जारी (Drug Alert)

सभी राज्यों के दवा नियंत्रकों, केन्द्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) व स्टेट ड्रग अथारिटी ने पहले ड्रग अलर्ट जारी किया. इसमें देशभर की 131 दवाओं के सैंपल गुणवत्ता पर खरे नहीं उतरे. इनमें पाकिस्तान में बनी ब्यूटी क्रीम व चीन में बनी लिपस्टिक का सैंपल भी शामिल है. अधिकतर सैंपल सर्दी, खांसी, जुकाम, गैस, एलर्जी व दर्द निवारण के लिए प्रयोग होने वाली दवाओं के फेल हुए हैं. इनमें से 32 दवाओं का उत्पादन हिमाचल के उद्योगों में हुआ है. हिमाचल के अलावा उत्तराखंड, गुजरात, पंजाब, बंगाल, उप्र, केरल, सिक्किम, मप्र, तेलंगाना, हरियाणा के उद्योगों में बनी दवाओं के सैंपल गुणवत्ता पर खरे नहीं उतरे हैं.

अधिकतर दवाओं में धूल कण

सीडीएससीओ के ड्रग अलर्ट में 70 व स्टेट में 61 दवाएं खरी नहीं उतरी हैं.सूची जारी कर कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं; अधिकतर दवाओं में धूल के कण पाए गए हैं. वहीं मिस ब्रांडेड यानी लेबलिंग में भी गलतियां मिली हैं, बताई मात्रा के अनुरूप भी दवा में सामग्री नहीं डाली है. कुछ दवाएं नकली भी पाई जा रही हैं. सीडीएससीओ ने लोगों के स्वास्थ्य का ध्यान रखते हुए दवाओं की जानकारी संबंधित बैच के साथ वेबसाइट पर अपलोड कर दी है.

ये हैं प्रमुख दवाएं (Important Medicines) 

अमाक्सिलन सोडियम, पैंटाप्राजोल गेस्ट्रो, विटामिन बी1, विटामिन बी, विटामिन बी6, बी 12, विटामिन सी, जॅटामाइसिन इंजेक्शन, कैल्शियम एंड विटामिन डीउ, रिबेप्राजोल सोडियम, ओमिप्राजोल इंजेक्शन, कैल्शियम 500एमजी, ओमेगा-3 फैटी एसिड सहित कई दवाएं व इंजेक्शन के सैंपल फेल पाए गए हैं.

दवा में मिलावट क्यों की जाती है (Fake Medicines)

नकली या जाली दवाइयों का उत्पादन कई कारणों से हो सकता है. इसमें अपराधिक संगठनों द्वारा लाभ कमाने की कोशिश, अपर्याप्त विनियमन और गुणवत्ता नियंत्रण की कमी शामिल है. ये नकली दवाइयां खतरनाक हो सकती हैं. क्योंकि उनमें गलत तत्व हो सकते हैं. गलत खुराक हो सकती है या पूरी तरह से खाली भी हो सकती हैं, जिससे अप्रभावी उपचार या नुकसान हो सकता है. मिलावट वाली दवा लेने से कई गंभीर स्वास्थ्य समस्याएं हो सकती हैं. इसके कारण गंभीर बीमारी भी हो सकती है.

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About the Author: स्मिता
स्मिता धर्म-अध्यात्म, संस्कृति-साहित्य, और स्वास्थ्य संबंधी मुद्दों पर शोधपरक और प्रभावशाली पत्रकारिता में एक विशिष्ट नाम हैं। पत्रकारिता के क्षेत्र में उनका लंबा अनुभव समसामयिक और जटिल विषयों को सरल और नए दृष्टिकोण के साथ प्रस्तुत करने में उनकी दक्षता को उजागर करता है। धर्म और आध्यात्मिकता के साथ-साथ भारतीय संस्कृति और साहित्य के विविध पहलुओं को समझने और प्रभावशाली ढंग से प्रस्तुत करने में उन्होंने विशेषज्ञता हासिल की है। स्वास्थ्य, जीवनशैली, और समाज से जुड़े मुद्दों पर उनके लेख सटीक और उपयोगी जानकारी प्रदान करते हैं। उनकी लेखनी गहराई से शोध पर आधारित होती है और पाठकों से सहजता से जुड़ने का अनोखा कौशल रखती है।
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